तिरुवनंतपुरम में खेले गए निर्णायक मुकाबले में 8 ओवर के खेल में जीत के लिए जबरदस्त भिड़त देखने को मिली जहां भारतीय टीम ने एक इकाई के तौर पर खेलते हुए शानदार जीत हासिल की। इस मैच में भारत ने 6 रनों से रोमांचक जीत अर्जित की। वहीं न्यूजीलैंड पहली बार भारत के खिलाफ टी20 सीरीज़ में 1-2 से हारा है। कप्तान कोहली की अगुवाई में इस साल एक और सीरीज़ टीम इंडिया के नाम हो गई।
मैच के बाद प्रेस कॉन्फ्रेंस में विराट कोहली काफी खुश नजर आ रहे थे। लेकिन इस दौरान वह एक सवाल पर भड़क गए जब कप्तान कोहली से एक रिपोर्टर ने महेंद्र सिंह धोनी के मौजूदा फॉर्म और टीम में जगह को लेकर सवाल किया, तो कोहली ने धोनी का समर्थन करते हुए लोगों को नज़रिया बदलने की नसीयत दे दी।
विराट ने कहा, ‘मुझे समझ नहीं आता लोग सिर्फ उन पर (धोनी) पर उंगली क्यों उठा रहे हैं। अगर मैं तीन मैच में रन न बनाऊं, तो मेरे ऊपर कोई उंगली नहीं उठाएगा, क्योंकि मैं 35 साल का नहीं हूं, तो उनके साथ ऐसा क्यों? राजकोट में उस समय स्थिति ऐसी थी, कि अगर हार्दिक पंड्या बल्लेबाजी के लिए आते, तो वो भी रन नहीं बना सकते थे। किसी को भी धोनी पर सवाल उठाने का कोई हक नहीं है।’
विराट ने कहा, ‘वह (धोनी) फिट हैं और उन्होंने सारे फिटनेस टेस्ट पास किए हैं। वह हर संभव तरीके से टीम के लिए योगदान दे रहे हैं। फिर चाहे रणनीतिक तौर पर हो या बल्लेबाजी से। अगर आप श्रीलंका और ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ खेली गई सीरीज को देखें, तो उन्होंने बेहतरीन प्रदर्शन किया था।’
कोहली ने कहा कि ‘लोग लगातार एक ही इंसान पर निशाना साधते जा रहे हैं, जो सही नहीं है, धोनी टीम में अपनी भूमिका भलि भांति जानते हैं। हालांकि, जरूरी नहीं हैं कि वह हर बार बेहतर प्रदर्शन कर पाएं। दिल्ली के टी-20 मैच में उन्होंने आते ही जो छक्का मारा था, उसे मैच के बाद कई बार दिखाया गया। हर कोई खुश था और अब अचानक अगर वह एक मैच में अच्छा स्कोर नहीं कर पा रहे हैं, तो सभी उनके पीछे ही पड़ गए हैं।
उन्होंने कहा, ‘मुझे लगता है कि लोगों को थोड़ा धैर्य रखना चाहिए। धोनी एक ऐसे खिलाड़ी हैं, जो क्रिकेट के हर प्रारूप की समझ रखते हैं। वह एक समझदार इंसान हैं। वह हर प्रारूप में अपनी भूमिका को अच्छे से पहचानते हैं। इसलिए, मुझे नहीं लगता कि किसी और को उनके जीवन का फैसला लेने का हक है।’
बता दें कि राजकोट में खेले गए दूसरे टी20 मैच में भारत को 40 रनों से हार मिली थी। लेकिन शुरुआती दौर में उन्होंने काफी धीमी बल्लेबाज़ी की थी, जिसकी वजह से भारत की आवश्यक रन गति काफी बढ़ती चली गई और अंत में टीम को हार का मुंह देखना पड़ा। हालांकि इस मैच में धोनी ने 37 गेंद पर 49 रन की पारी खेली थी।