गोल्ड कोस्ट में हुए कॉमनवेल्थ खेलों में भारतीय मुक्केबाजों ने कमाल का प्रदर्शन करते हुए तीन गोल्ड, तीन सिल्वर और तीन ब्रांज मेडल अपने नाम किये थे। इसके अलावा टीम इंडिया मेडल टैली में इंग्लैंड के बाद दूसरे नंबर पर थी। पिछली बार हुए एशियाई खेल 2014 में हुए थे, जिसमें भारतीय मुक्केबाजों ने कुल 5 मेडल जीते थे। मैरी कॉम ने एक मात्र गोल्ड जीता था, बाकी चार ब्रॉन्ज मेडल टीम इंडिया के खाते में आए थे।
हालांकि इस बार भारतीय दल के साथ मैरी कॉम नहीं हैं, इसके बावजूद भी मुक्केबाजों से देश को अच्छे प्रदर्शन की उम्मीद है। ऐसे में एक नजर डालते हैं, उन मुक्केबाजों पर जो देश को पदक दिला सकते हैंः
भारत की बेहतरीन महिला मुक्केबाजों में से एक सोनिया लाठर को 57 किग्रा में अंतिम समय में कॉमनवेल्थ खेलों में जाने का मौका नहीं मिला था। क्योंकि आईओए ने फेडरेशन से संख्या कम करने को कहा था, जिसकी वजह से वह चूक गई थीं। लेकिन मैरीकॉम के बाद सोनिया दूसरी मुक्केबाज हैं, जिन्होंने एशियन चैंपियन में सिल्वर मेडल जीता है। इसके अलावा सोनिया ने विश्व चैंपियनशिप में सिल्वर मेडल भी जीत चुकी हैं। ऐसे में उनसे एशियाई खेलों में पदक की उम्मीद हैं।
सोनिया लाठर
एशियाई खेलों में भारत की तरफ से मेडल के प्रबल दावेदार मनोज कुमार हैं, जिन्होंने भले ही कॉमनवेल्थ खेल 2018 में ब्रॉन्ज मेडल जीता हो। लेकिन एशियाई खेलों में भारत को पदक दिलाने के प्रबल दावेदार हैं, मनोज कुमार ने साल 2016 मे दक्षिण एशियाई खेलों में गोल्ड मेडल जीता था।
मनोज कुमार
कॉमनवेल्थ गेम्स में गौरव सोलंकी ने देश को गोल्ड दिलाया था, ऐसे में एशियाई खेलों में भी उनसे इसी प्रदर्शन की उम्मीद है। कॉमनवेल्थ खेलों में 21 वर्षीय सोलंकी ने आयरलैंड के मुक्केबाज ब्रेंडन इरविन को मात देकर गोल्ड पर कब्जा जमाया था।
गौरव सोलंकी
भारत के सबसे बेहतरीन और अनुभवी मुक्केबाज विकास कृष्णन का ये आखिरी एशियाई खेल हो सकता है। क्योंकि साल 2020 के ओलंपिक के बाद वह प्रोफेशनल बॉक्सिंग की दुनिया में चले जाएंगे। साल 2018 गोल्ड कोस्ट में आयोजित हुए कॉमनवेल्थ खेलों में विकास ने देश को सोना दिलाया था। इसके अलावा साल 2010 और 2014 में हुए एशियन गेम्स में वह क्रमशः ब्रॉन्ज और गोल्ड मेडल जीत चुके हैं। ऐसे में विकास से देश को बड़ी उम्मीद है।
विकास कृष्णन
भारत के युवा मुक्केबाज अमित पंघल ने कॉमनवेल्थ खेलों में सिल्वर मेडल जीता था। वह पहली बार एशियाई खेलों में भाग ले रहे हैं, ऐसे में उनसे गोल्ड कोस्ट के प्रदर्शन को दोहराने की उम्मीद है। 22 वर्षीय अमित ने साल 2017 में एशियाई अमेच्योर मुक्केबाजी चैंपियनशिप में कांस्य पदक जीत चुके हैं।
अमित पंघल